• Latest Post
  • Facebook Channel
  • YouTube Channel
  • Instagram
  • Twitter
Facebook Twitter Instagram WhatsApp
Facebook Twitter Instagram
Newshimachal24
Subscribe
  • Latest Post
  • Facebook Channel
  • YouTube Channel
  • Instagram
  • Twitter
Newshimachal24
पंजाब

बांग्लादेश में प्रचार करने पहुंचे श्री चैतन्य गौडि़य मठ के वर्तमान आचार्य

Newshimachal24By Newshimachal2409/16/2022No Comments2 Mins Read
Share Facebook Twitter WhatsApp
Share
Facebook Twitter WhatsApp


संजय कालिया जालंधर (पंजाब)

जगद्गुरू प्रभुपाद श्रील भक्ति सिद्धांत सरस्वती ठाकुर जी द्वारा स्थापित


तीसरा मठ, (श्रीमध्व गौड़ीय‌ मठ ) जो की सन् 1921में नारिन्दा, बांग्लादेश में बनाया था उसमें श्री हरि नाम रस धारा ( हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे) का प्रसार एवं प्रचार करने के लिए अखिल भारतीय श्री चैतन्य गौड़ीय मठ के वर्तमान आचार्य पूजापाद् 108 त्रिदडी़ स्वामी भक्ति विचार विष्णु महाराज जी बांग्लादेश पहुंचे।
इस मौके पर श्रील पूज्यपाद विष्णु महाराज जी ने जगद्गुरू प्रभुपाद श्रील भक्ति सिद्धांत सरस्वती ठाकुर के पद को याद करते हैं उन्होंने बताया कि


°°°°°°°°°°°°°°°°°°°°°°
” आददानस्तृणं दैन्तैरिदं यांचे पुनः पुनः ।
श्रीमद्रूप – रघुनाथ पदम्भोज धुलि:स्याद् जन्म -जन्मनि।।

इस परम पवित्र दिव्य श्लोक हमेशा करते हुए जगद्गुरू प्रभुपाद श्रील भक्ति सिद्धांत सरस्वती ठाकुर बताते थे कि आप सब इस विषय को समझने की विशेष रूप से कोशिश कीजिए कि जब सब जैसे नित्यकाल श्रील रुप -रघुनाथ के श्रीपादपघ धूली के सेवक हो पायें, तब नित्यकाल अप्राकृत बृजनवयुवद्बन्द्ब श्री श्री राधा कृष्ण जुगल किशोर के श्रीपादपद की प्रेम सेवा प्राप्त कर सकेंगे।



श्रीलरूप- रघुनाथ राजा जैसे ऐश्वर्यवान होकर भी परम पवित्रम श्री कृष्ण सेवा में श्रीमती की नगन्या दासी के रूप में जो अप्राकृत महान निर्मल स्थापित किया वह जगत वासी वर्णना में संपूर्ण असमर्थ है। इसके अंदर समस्त गोस्वामिओं अपेक्षित श्रीमती कि श्रीचरणरज: सेवा के दासित्व प्राप्त करने के लिए श्री रघुनाथ दास गोस्वामी के वैराग्य एवं आरर्ति, इतना गंभीरतम रूप लिया जैसे पृथ्वी देवी का भी हृदय विदीर्ण हो गया ।



अत: (श्रीलप्रभुपाद) विशुद्ध पदवाच्य परम पवित्रतम शुद्धसत्त्व विग्रह एवं समस्त जगत के जगत गुरु रूप मैं परम वरनीय, वंदनीय, स्मरणीय, अर्चनीय, एवं नित्य कीर्तनीय एकमात्र श्रील भक्ति सिद्धांत सरस्वती गोस्वामी ठाकुर व्यतीत और कौन हो सकता है।

Share this:

  • Twitter
  • Facebook
  • WhatsApp
  • More
  • Telegram

Related

Share. Facebook Twitter WhatsApp

Related Posts

03/09/2023

भा•ज•पा• कार्यकर्ताओं ने किया पंजाब विधानसभा का घेराव

03/09/2023
03/09/2023

श्री चैतन्य महाप्रभु जी की 538वीं प्रकट तिथि

03/09/2023
03/09/2023

फालैन गांव में जलती हुई प्रसिद्ध होलिका में से पण्डा के निकलने पर विशेष

03/09/2023
03/09/2023

होलिका दहन का शास्त्रोक्त_निर्णय भारत में दो दिन होगा होलिका दहन

03/09/2023
01/07/2023

भारत जोड़ो यात्रा’ लेकर राहुल गांधी, जानें किस दिन व क्या होगा Traffic Plan

01/07/2023
01/02/2023

तारक मेहता का उल्टा चश्मा में जेठालाल को लेकर आई बुरी खबर

01/02/2023
01/02/2023

कौन सी चिड़िया पीती है सिर्फ बारिश का पानी? 99 प्रतिशत लोगों को नहीं पता सही जवाब

01/02/2023
01/01/2023

जालंधर में भयानक सड़क हादसा, कार और ट्रक की टक्कर में 2 युवकों की मौत, 3 घायल

01/01/2023
Subscribe on Youtube
https://www.youtube.com/watch?v=s2cfe7ofxrs
Recent Posts
  • टीबी उन्मूलन में पंचायतें निभाएं भूमिका
  • भारतीय प्रबंधन संस्थान धौलाकुंआ की भूमि पर न हो कोई अतिक्रमण-डीसी
  • बांगरण पुल पर 26 मार्च से 25 अप्रैल तक नहीं चलेंगे वाहन -उपायुक्त
  • नाहन में आयोजित हुईं लड़के और लड़कियों की दौड़ प्रतियोगिताएं
  • महाऋषि वाल्मीकि गुरु रविदास यूथ एकता महासभा द्वारा 29 मार्च को प्रशिक्षण केन्द्र बाथू में जरूरतमंद बच्चों को दी जाएगी सहायता

Archives

  • March 2023
  • February 2023
  • January 2023
  • December 2022
  • November 2022
  • October 2022
  • September 2022
  • August 2022
  • July 2022
  • June 2022

Categories

  • bilaspur
  • Featured
  • Kullu
  • sirmour
  • Uncategorized
  • ऊना
  • कांगड़ा
  • किनौर
  • कुल्लू
  • चंबा
  • चम्बा
  • धर्मशाला
  • पंजाब
  • पालमपुर
  • बैजनाथ
  • मंडी
  • रक्कड़
  • शिमला
  • सरकाघाट
  • सिरमौर
  • हमीरपुर
  • हिमाचल प्रदेश

Facebook Twitter Instagram WhatsApp
  • Home
Copyright ©️ 2023 Newshimachal24, All Rights Reserved

Type above and press Enter to search. Press Esc to cancel.